उसने दिल नही सदा औकात को देखा
शायद ही कभी मेरे ज़ज्बात को देखा
इसलिए बेअसर रही मेरी पाक दुआए
खुदा ने मुझे देखकर कायनात को देखा
शायद ही कभी मेरे ज़ज्बात को देखा
इसलिए बेअसर रही मेरी पाक दुआए
खुदा ने मुझे देखकर कायनात को देखा
उसे अपनी कसमकश से ही फुर्सत ना थी
भला कब उसने मेरे ख्यालात को देखा
चबा डाले मुफलिसी ने बड़े बड़े हुनरमंद
जब झांक कर मरहूमो के हालात को देखा
वही समझेगा तुम्हारे दर्द को बेचैन
महोब्बत में जिस किसी ने मात को देखा
भला कब उसने मेरे ख्यालात को देखा
चबा डाले मुफलिसी ने बड़े बड़े हुनरमंद
जब झांक कर मरहूमो के हालात को देखा
वही समझेगा तुम्हारे दर्द को बेचैन
महोब्बत में जिस किसी ने मात को देखा
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