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Tuesday, 6 May 2014

किसने कहा बेटियां पराई होती है
ये तो माँ-बाप की परछाई होती है

पीड़ा समझती है हर एक रिश्ते की
बेटियां असल हातिमताई होती है

दहलीज जो भी कंवारी रह जाती है
उस आँगन में दर्ज़नो बुराई होती है

वही रखेगा बेटियों पर गलत निगाहें
जिसकी सोच में गंदगी समाई होती है

फेरो के साथ ही हकदार बदल जाते है
कब जिंदगी की बेटी मल्काइन होती है

कोख में मारने वालो सुनो बेटियां तो
नसीब अपने साथ लेकर आई होती है

दुनिया जिसे इज़्ज़त का नाम देती है
बेचैन वो बेटियो से ही कमाई होती है

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