मैं जब तलक ना आऊँ होश में अपने
जिंदगी यूं ही रख आगोश में अपने
तूफां में ज्यादा देर ना ठहरने का
कभी मलाल न जुड़े अफ़सोस में अपने
गुफ्तगू का सिलसिला जारी रहे सदा
हरगिज़ ना कमी आये जोश में अपने
तेरी जुस्तजू को जिसकी भी तलाश है
वो सब कुछ पाओगे सरफरोश में अपने
इसलिए रहता हूँ बेचैन हर घड़ी
तुझे रखता हूँ दिल की खरोस में अपने
जिंदगी यूं ही रख आगोश में अपने
तूफां में ज्यादा देर ना ठहरने का
कभी मलाल न जुड़े अफ़सोस में अपने
गुफ्तगू का सिलसिला जारी रहे सदा
हरगिज़ ना कमी आये जोश में अपने
तेरी जुस्तजू को जिसकी भी तलाश है
वो सब कुछ पाओगे सरफरोश में अपने
इसलिए रहता हूँ बेचैन हर घड़ी
तुझे रखता हूँ दिल की खरोस में अपने
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