इस साल के झगड़े इसी साल निपटा लो
भूलकर नाराजगी रूठा महबूब मना लो
एक दूसरे की गलती फिर निकलना कभी
तुम फिलहाल नये साल की धूम मचा लो
प्यार है तो रूठना भी जरूरी है मेरे दोस्त
अच्छे से ये बात दिलों-दिमाग में बिठा लो
मिलता है मौका तो माथे पर चुम्बन लेकर
पाकीजगी के अहसास का दीपक जला लो
गर अगले जन्म में भी उसी की आरजू है
दे देगा खुदा शिवाले जाकर सर झुका लो
चाहत है नये साल पर गर ज्यदा मजे की
पैग लगाकर सच बोलने की कसम खा लो
नये साल पर मशवरा है मुफ्त में बेचैन
दोस्ती के रिश्ते को थोडा सा आगे बढ़ा लो
भूलकर नाराजगी रूठा महबूब मना लो
एक दूसरे की गलती फिर निकलना कभी
तुम फिलहाल नये साल की धूम मचा लो
प्यार है तो रूठना भी जरूरी है मेरे दोस्त
अच्छे से ये बात दिलों-दिमाग में बिठा लो
मिलता है मौका तो माथे पर चुम्बन लेकर
पाकीजगी के अहसास का दीपक जला लो
गर अगले जन्म में भी उसी की आरजू है
दे देगा खुदा शिवाले जाकर सर झुका लो
चाहत है नये साल पर गर ज्यदा मजे की
पैग लगाकर सच बोलने की कसम खा लो
नये साल पर मशवरा है मुफ्त में बेचैन
दोस्ती के रिश्ते को थोडा सा आगे बढ़ा लो
No comments:
Post a Comment